नवचंडी यज्ञ शक्ति का प्रतीकः योगी प्रियव्रत

नवचंडी महायज्ञ ऋषिकेश में 4 जून को
ऋषिकेश।
विगत दिनों हरिद्वार में महाकुंभ के अवसर पर शिव आवाहन अनुष्ठान हुआ।
ऋषिकेश स्थित नेचुरल विले रिसोर्ट पर इसी श्रृंखला में योगी प्रियव्रत अनिमेष की अगुवाई में एक नवचंडी यज्ञ 4 जून को होने जा रहा है। आमतौर पर यह माना जाता है कि नवचंडी यज्ञ एक ऐसी पूजा है। जिसके द्वारा धन शक्ति, जीवन में समृद्धि एवं सफलता प्राप्त की जा सकती है। यह यज्ञ शत्रु और बुरे ग्रहों के परिणाम को भी दूर करता है।
योगी प्रियव्रत अनिमेष ने इस संबंध में कहाकि नवचंडी यज्ञ शक्ति प्रतीक है। इसमें कार्मिक तौर पर भगवान गणेश, भगवान शिव, नवग्रह और नवदुर्गा का आह्वान और आशीर्वाद प्राप्त होता है। किंतु आध्यात्म की दृष्टि से हवन यज्ञ और पूजाओं का आधार भौतिक संपदा प्राप्त नहीं होता है। यह सत्य है कि संसाधनों एवं व्यवस्थाओं को अनुकूल बनाने के लिए इन शास्त्रीय विधान का प्रयोग होता है। लेकिन यह यज्ञ आंतरिक स्थिति की उच्चता एवं संतुलन के लिए किया जाएगा।
नवचंडी यज्ञ सनातन धर्म में बहुत शक्तिशाली है। यह एक असाधारण और अतुलनीय महायज्ञ है। नकारात्मक शक्तियों से बचाव और स्वयं के विचारों को विराट बनाने की शक्ति मिलती है। ऊर्जावान और सकारात्मक माहौल के तहत उन विचारों पर कार्यान्वयन की प्रेरणा मिलती है।

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