औषधियों की गुणवत्ता और सेवा ही आदर्श आयुर्वेदिक फार्मेसी की पहचानः दामोदर दास

आदर्श आयुर्वेदिक फार्मेसी के 75 वर्ष पूर्ण होने पर डांयमड जुबली कार्यक्रम का आयोजन
हरिद्वार।
स्वास्थ्य के क्षेत्र में आमजन को आरोग्य प्रदान कर रही आदर्श आयुर्वेदिक फार्मेसी कनखल के 75 वर्ष पूर्व होने व सुभारती चैनल पर 100 एपिसोड पूर्ण होने पर डायमंड जुबली कार्यक्रम का आयोजन किया गया। बता दें कि आदर्श आयुर्वेदिक फार्मेसी की स्थापना वर्ष 1947 में स्वं. वैद्यराज लल्लू जी ने की थी। तब से आज तक फार्मेसी लोगों को आरोग्य प्रदान करने की सेवा में अनवरत कार्य करती चली आ रही है।
बाईपास मार्ग स्थित एक होटल में आयोजित डायंमड जुबली कार्यक्रम का शुभारम्भ भगवान धनवंतरी के पूजन के साथ हुआ। उसके पश्चात अतिथियों का स्वागत किया गया।
इस अवसर पर बतौर विशिष्ट अतिथि रशिया की ओल्गा चोबाकोबा जो की विगत 10 वर्षों से आदर्श आयुर्वेदिक फार्मेसी की ब्रांड एम्बेस्डर भी हैं, ने आयुर्वेद के संबंध में अनुभव साझा करते हुए फार्मेसी द्वारा निर्मित काचनार गुग्गल, तुलसी ड्राप्स, गिलोय, च्यवनप्राश आदि के गुण और फायदों के बारे में बताया। वहीं किसी कारणवश कार्यक्रम में शिरकत न कर पाने के कारण यूक्रेन के बा्रंड एम्बेस्डर बोव्रोस्का एलेक्स ने फोन के माध्यम से अपनी शुभकामनाएं प्रेषित कीं।
मुख्य अतिथि उदासीन पंचायती अखाड़ा बड़ा के कोठारी महंत दामोदर दास महाराज ने अपनी शुभकामनाएं देते हुए कहाकि जिस दिन से मेरा परिचय वैद्य दीपक कुमार के साथ हुआ है तब से मैं इनकी औषधी पाकर लाभान्वित हुआ हूं। उन्होंने कहाकि वैद्य दीपक की खासियत यह है कि जो भी संत या फकीर इनके पास अपने उपचार के लिए आता है वे उसका इलाज निःश्ुाल्क करते हैं। और यह सिलसिला फार्मेसी के स्थापना काल से चला आ रहा है।
बड़ा अखाड़ा शाहपुर के कोठारी श्रीमहंत जयेन्द्र मुनि महाराज ने कहाकि आदर्श आयुर्वेदिक फार्मेसी अपनी गुणवत्ता के लिए प्रख्यात है। यही कारण है कि यहां आने वाला प्रत्येक रोगी निरोगी हो जाता है।
बता दें कि फार्मेसी के संस्थापक स्व. वैद्य लल्लू जी ने वर्ष 1947 में ही पीसीओडी, सर्वाइकल, अर्थराइटिस, रक्तचाप, डायबिटिज, यूट्रस सिस्ट, थायराइड आदि बिमारियों के उपचार के लिए दवाओं का लाइसेंस ले लिया था। जबकि इन बिमारियांे का फैलाव वर्ष 1990 में जीवनशैली में आए बदलाव के कारण हुआ है। यह उनकी दूरदर्शिता थी की उन्होंने इन बिमारियों के संबंध में पूर्व से ही लोगों को आरोग्य बनाने का बीड़ा उठा लिया था। वैद्य लल्लू जी के पश्चात उनके बेटे वैद्यराज विजय कुमार ने आरोग्य प्रदान करने के इस बीडे को उठाया और वर्ष 1991 से वैद्य दीपक कुमार इस कार्य को बखूबी निभाते चले आ रहे हैं। अभी तक हजारों लोगों को असाध्य रोगों को वैद्य दीपक कुमार निजात दिला चुके हैं। इनके उपचार की पद्वति व दवाओं की गुणवत्ता के कारण देश के कोने-कोने के अलावा विदेशों के लोग भी चिकित्सा लाभ प्राप्त कर रहे हैं। यही कारण है कि बैंकॉक, थाईलैंड, शारजहां, दुबई, यूएई, यूक्रेन, रशिया, मालद्वीव, मॉरीशस आदि देशों में वैद्य दीपक को सम्मानित किया जा चुका है।
इस अवसर पर आए हुए अतिथियों का स्वागत करते हुए वैद्य दीपक ने कहाकि ऐसा कोई रोग नहीं है जिसका इलाज संभव नहीं है। बस आवश्यकता है सही चिकित्सक का चुनाव और प्रमाणिक दवाई। उन्होंने कहाकि मैंने अपने दादा जी और पिता जी को उपचार करते हुए देखा है। इसी कारण से आज में लोगों को सही उपचार दे पा रहा हूं। उन्होंने कहा कि ये मेरा संकल्प है की मैं जब तक हू लोगों को निरोगी बनाने के लिए कार्य करता रहूंगा। इस अवसर पर मेयर अनीता शर्मा, मंत्री स्वामी यतीश्वरानंद, हरिशचन्द्र सेमवाल, किसान आयोग के अध्यक्ष राकेश राजपूत, विधायक ममता राकेश, मंडी समिति रूद्रपुर अध्यक्ष निधि यादव, जिला आयुर्वेदिक अधिकारी डा. राजीव वर्मा, पूर्व विधायक रामयश सिंह, पूर्व मेयर मनोज गर्ग, सतपाल ब्रह्मचारी, गंगा सभा अध्यक्ष प्रदीप झा, अरविंद शर्मा, मंजू उेनी, सुभारती विवि के अण्यक्ष डा. अतुल भटनागर, सुभारती के सीईओ आरपी सिंह आदि ने भी अपने विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर अनेक गणमान्य नागरिक मौजूद थे।

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