हरिद्वार। गंगा दशहरा स्नान पर्व पर आज तीर्थनगरी में गंगा घाटों पर श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा। श्रद्धालुओं ने हरकी पैड़ी ब्रह्म कुण्ड समेत गंगा के विभिन्न घाटों पर पुण्य की डुबकी लगा पुएय अर्जित किया। अल सुबह से शुरू हुआ स्नान का क्रम दिन भर अनवरत जारी रहा। श्रद्धालुओं में सबसे अधिक भीड़ दिल्ली, यूपी और हरियाणा के श्रद्धालुओं की रही। अन्य प्रांतों से भी भारी संख्या में श्रद्धालुओं ने तीर्थनगरी पहुंचकर स्नान किया।
गंगा दशहरा स्नान के लिए घाटों पर तड़के से ही भीड़ जुटने लगी थी। गंगा दशहरा पर गंगा में स्नान करने का सबसे अधिक महत्व बताया गया है। मान्यता है कि आज ही के दिन मां गंगा का पृथ्वी पर अवतरण हुआ था। पं. प्रतीक मिश्रपुरी के मुताबिक जिस दिन मां गंगा का पृथ्वी पर अवतरण हुआ था उस समय 10 योग बने थे। इसी कारण से आज के दिन गंगा में स्नान करने से 10 प्रकार के पापों का नाश हो जाता है। आज गंगा दशहरा पर्व पर 10 में से 5 योग मिल रहे हैं। अभिजित मुहूर्त सुबह 11.47 से दोपहर 12.40 तक स्नान के सर्वोत्तम रहा। जबकि मध्याह्न में मां गंगा का पूजन के लिए सर्वोत्तम योग रहा। दोपहर 1 बजकर 7 मिनट से ज्येष्ठ एकादशी तिथि आरम्भ हो गई। इसी के साथ गंगा दशहरा पर्व पर गंगा स्नान के बाद दस वस्तुओं के दान का भी महत्व बताया गया है। इसी कारण से लोगों ने स्नान के बाद दान आदि कर्म किए।
स्नान पर्व पर तीर्थनगरी में भारी भीड़ रही। जिस कारण से पुलिस प्रशासन का यातायात प्लान लागू करना पड़ा। जाम के कारण वाहन सड़कों पर रेंगकर चलते दिखाई दिए।
स्नान पर्च को सकुशल सम्पन्न कराने के लिए जिला प्रशासन ने मेला क्षेत्र को चार सुपर जोन और 16 जोन, 37 सेक्टर में बांटा था। मेला क्षेत्र में 764 पुलिस अधिकारी, कर्मचारी और चार पीएसी की कंपनी, दो बीडीएस, दो फायर यूनिट, प्लड कंपनी की तैनाती की गई है। एएसपी चार, सीओ 14, निरीक्षक, एसओ 17, एसआई 44, एलएसआई 18, एएसआई 37, हेड कांस्टेबल 56, कांस्टेबल 189, एलसी 75, टीआई एक, टीएसआई सात, हेड कांस्टेबल 14, कांस्टेबल 40, प्रशिुक्ष एसआई 135 एवं हेड कांस्टेबल 131, बीडीएस, डॉग स्क्वायड की दो टीम, फायर यूनिट दो, फ्लड़ कंपनी एक प्लाटून, पीएसी चार कंपनी, दो प्लाटून की तैनाती की गई थीं। इसके साथ ही सात दिन तक शहर में भारी वाहनों का प्रवेश प्रतिबंधित किया गया है। 30 मई की शाम चार बजे से 05 जून की रात 10 बजे तक शहर में प्लान लागू रहेगा।